संगमरमर और लाल बलुआ पत्थर के मिश्रण से निर्मित गीता मंदिर वास्तु शिल्प का एक अद्भुत उदाहरण है। इसकी संगमरमर की दीवारों पर देवी-देवताओं के उत्कृष्ट चित्रों को उकेरा गया है। भगवान कृष्ण देवी लक्ष्मी, भगवान नारायण, भगवान राम और देवी सीता की मूर्तियों को सुंदर आभूषणों से सजाया गया है। बाग में एक स्तंभ है, जिस पर पवित्र भगवद् गीता के श्लोकों को लिखा गया है। भगवान विष्णु को समर्पित इस मंदिर का निर्माण प्रसिद्ध बेड़ा समूह के युगल किशोर बिड़ला ने अपने माता-पिता की स्मृति में करवाया था।
कृष्ण जन्माष्टमी त्योहार के अवसर पर मंदिर की छत को लड़ियों से इस प्रकार सजाया जाता है कि वे रात्रि में आकाश में टिमटिमाते सितारों की भांति चमकते हैं। गीता मंदिर में होली जैसे अन्य त्योहार भी उत्साह के साथ मनाये जाते हैं। इस दौरान होने वाले भव्य पूजन या पवित्र समारोहों को देखने के लिए देशभर से श्रद्धालु यहां आते हैं।

अन्य आकर्षण