विश्व प्रसिद्ध दो कूबड़ों वाले ऊंटों की सवारी के लिए नुब्रा घाटी किसी आकर्षण की मोहताज नहीं है। नुब्रा घाटी को दो-कूबड़ वाले बैक्ट्रियन ऊंटों का घर माना जाता है। इन ऊंटों कों मध्य एशिया से इस क्षेत्र में लाया गया था। आज, ये ऊंट इस शानदार परंपरा की अतीत के अवशेष हैं। नुब्रा घाटी में हैन्डर के रेत के टीलों के आसपास इन ऊंटों की अनूठी सवारी का आनंद लिया जा सकता है। लेह से सटे हुए तिब्बती गांव एजलिंग में भी ऊंटों की सवारी का आनंद लिया जा सकता है। ऊंट की सवारी स्टोक तक की जा सकती है। इस यात्रा को पूरा होने में लगभग चार घंटे लगते हैं। यहां का इलाके हरा-भरा है लेकिन कुछ दूर जाकर ये हरियाली से रेतीले रेगिस्तान में बदल जाती हैं। ऊँट की पीठ पर सवारी करना इस उच्च ऊंचाई वाले ठंडे रेगिस्तान का पता लगाने के सबसे रोमांचक तरीकों में से एक है। लगभग 10,000 फीट की ऊंचाई पर स्थित यह इलाका बर्फ से ढंके पहाड़ों से घिरा है, जो शुष्क है लेकिन शानदार नजारे की झलक पेश करता है।

अन्य आकर्षण