इम्फाल की प्राचीन नदी के तट पर बसाए हनुमान ठाकुर मंदिर शहर के सबसे अधिक पर्यटकों वाले तीर्थस्थलों में से एक है। मंदिर महाबली जंगल के आकर्षक और हरेण्भरे पेड़ों के बीच स्थापित है और भगवान हनुमान को समर्पित है। मंदिर के सामने एक मंडप है जो मुख्य मंदिर की संरचना को लगभग ढक लेता है। मंदिर को पहले ईंटों से बनाया गया था और बाद मेंए पूरे ढांचे पर सीमेंट की एक परत चढ़ाई गयी थी। मंदिर वास्तुकला की विशिष्ट बंगाल शैली में बनाया गया है और इसकी झोपड़ीनुमा संरचना मणिपुर में हिंदू धर्म के रामानंदी पंथ के प्रसार की याद दिलाती है। इसका निर्माण 1725 में मणिपुर के शासक ग़रीब निवाज द्वारा किया गया था। ऐसा कहा जाता है कि राजा ग़रीब निवाज के नेतृत्व में पनपने वाली रामानंदी पंथ उनकी मृत्यु के बाद गायब हो गई थी।

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