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जोधपुर शहर से लगभग 141 किमी दूर स्थितए फलोदी थार रेगिस्तान का पुराना कारवां केंद्र है। इस स्थान पर बहुत सारे प्रसिद्ध किले और महल देखे जा सकते हैं जो दिलचस्प ऐतिहासिक पर्यटन है। मुख्य आकर्षण फलोदी किला हैए जो अपनी अद्भुत वास्तुकला के लिए प्रसिद्ध है। इसका निर्माण 1488 में राव हम्मीर राणावत ने करवाया थाए जो मारवाड़ के राजा राव सुजा के पोते थे। अन्य आकर्षण लाल निवास हैए जिसका नाम इसके निर्माण में प्रयुक्त लाल बलुआ पत्थर के कारण रखा गया है। यह आवासीय महल वर्ष 1750 में बनाया गया थाए लेकिन राजस्थान में कई पुराने महलों की तरहए अब एक विरासत होटल के रूप में कार्य करता है। ग्लास वर्क और भव्य झूमर लाल निवास को एक सुंदर रूप देते हैं। इसके अलावाए फलोदी में बड़ी संख्या में हवेलियां भी हैं जो जीवंत रंग में रंगी हुई हैं।
इतिहास मेंए यह स्थान अपने जैन और हिंदू मंदिरों के कारण उल्लेखित है। रामदेवरा मंदिर एक ऐसी उत्कृष्ट कृति हैए जहां 8वीं शताब्दी की मूर्तियां मौजूद हैं।
पर्यटक भारी कढ़ाई से अलंकृतम मजबूत और लोकप्रिय पारंपरिक जूतियों की खरीदारी कर सकते हैं।
ऐसा माना जाता है कि इस शहर की स्थापना 15वीं शताब्दी में हुई थीए और इसे राजस्थान के प्रमुख शहरों जैसे बीकानेरए नागौरए जैसलमेर और जोधपुर के साथ अपनी सीमाओं को साझा करते हुए नमक शहर के रूप में अधिक लोकप्रियता के साथ जाना जाता है। आज भीए नमक का व्यापार यहाँ का मुख्य व्यवसाय है।