बेकल का क्षेत्र नारियल के वृक्षों से आच्छादित है। इनकी बहुतायत के कारण केरल के प्रतिभाशाली शिल्पकार अपनी रचनात्मकता का उपयोग कर कई सदियों से नारियल के खोल से सुंदर और पर्यावरण के अनुकूल उत्पाद बनाते आ रहे हैं। इन वस्तुओं को तैयार करने की प्रक्रिया जटिल है। सबसे पहले, कठिन नारियल के खोल को चिकना किया जाता है, फिर इसके किनारे को विशेष रूप से इस उद्देश्य के लिए तैयार औजारों का उपयोग करके काटा जाता है। बेकल में दैनिक उपयोग की वस्तुओं से लेकर कटोरे, चाय के बर्तन, कप, चम्मच और ऐश-ट्रे से लेकर सजावटी सामान जैसे लैंप शेड्स, गुलदान, दीवार पर लटकने वाली कलाकृतियों और पायदान तक, नारियल के खोल से बनी वस्तुओं को बेचने वाली हस्तशिल्प दुकानों की एक विस्तृत श्रृंखला मौजूद है। नारियल के खोल से बने हुक्के और बड़े फूलदानों जैसे कुछ विशिष्ट उत्पादों की सुंदरता को बढ़ाने तथा उन्हें मज़बूत बनाने के लिए उनमें पीतल का प्रयोग भी किया जाता है।

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